
मुख्य बातें
- स्थगित सहकारी निरीक्षक भर्ती परीक्षा अब 16 नवंबर को
- परीक्षा केंद्र केवल सरकारी शिक्षण संस्थानों में बनाए जाएंगे
- पुलिस और मजिस्ट्रेट की संयुक्त टीम करेगी निरीक्षण
- गेट पर ही होगी बायोमीट्रिक हाजिरी और चेकिंग
- फुलप्रूफ मास्टर प्लान के तहत परीक्षा होगी पारदर्शी
- आयोग जल्द जारी करेगा समूह-ग भर्तियों का नया कैलेंडर
देहरादून | उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (UKSSSC) ने हाल ही में स्थगित की गई सहकारी निरीक्षक व सहायक विकास अधिकारी भर्ती परीक्षा की नई तिथि घोषित कर दी है। अब यह परीक्षा 16 नवंबर 2025 को आयोजित की जाएगी। बीते दिनों पेपर लीक और नकल माफिया मामलों के बाद आयोग पर उठे सवालों ने उसकी विश्वसनीयता को चुनौती दी थी। इसी कारण आयोग ने इस बार परीक्षा प्रक्रिया को पूरी तरह फुलप्रूफ और पारदर्शी बनाने का निर्णय लिया है।
आयोग के सचिव डॉ. शिव कुमार बरनवाल ने बताया कि यह परीक्षा पहले 5 अक्टूबर को प्रस्तावित थी, लेकिन कुछ कारणों से इसे स्थगित कर दिया गया था। उन्होंने कहा —
“अब यह परीक्षा 16 नवंबर को कराई जाएगी। जल्द ही अभ्यर्थियों के एडमिट कार्ड जारी किए जाएंगे और परीक्षा केंद्रों का पुनर्निर्धारण किया जाएगा।”
केवल सरकारी संस्थानों में बनेंगे परीक्षा केंद्र
इस बार आयोग ने निजी संस्थानों को परीक्षा केंद्र बनाने से पूरी तरह परहेज किया है। डॉ. बरनवाल ने बताया कि अब विश्वविद्यालयों, सरकारी महाविद्यालयों और पॉलिटेक्निक संस्थानों को ही परीक्षा केंद्र के रूप में चुना जाएगा। इन केंद्रों को तय करने से पहले पुलिस और मजिस्ट्रेट की संयुक्त टीम निरीक्षण करेगी, ताकि सुरक्षा, दीवारों की ऊंचाई और मोबाइल नेटवर्क सिग्नल जैसी तकनीकी बारीकियों का मूल्यांकन किया जा सके। आयोग ने पेपर लीक जैसी घटनाओं पर अंकुश लगाने के लिए फुलप्रूफ मास्टर प्लान तैयार किया है।
इसमें शामिल हैं:
- जैमर और सीसीटीवी की पूर्व जांच,
- गेट पर बायोमीट्रिक हाजिरी,
- संपूर्ण केंद्र की वीडियो निगरानी,
- लाइव टेलीकास्ट से आयोग कार्यालय में रीयल-टाइम मॉनिटरिंग।
केंद्र पर केवल अभ्यर्थी और पर्यवेक्षक को ही अंदर जाने की अनुमति होगी। बाकी सभी औपचारिकताएं प्रवेश द्वार पर ही पूरी की जाएंगी।
“पारदर्शिता हमारी प्राथमिकता” — जी.एस. मर्तोलिया
आयोग के अध्यक्ष जी.एस. मर्तोलिया ने कहा कि पिछली परीक्षाओं से मिले अनुभवों के आधार पर कई बड़े बदलाव किए गए हैं।
“पूर्व में जो परीक्षा केंद्र बनाए गए थे, उन्हें बदला जाएगा। इस बार केवल सरकारी संस्थानों को प्राथमिकता दी जा रही है। सभी केंद्रों पर कड़ी निगरानी होगी और किसी भी प्रकार की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।”
मर्तोलिया ने कहा कि आयोग का उद्देश्य केवल परीक्षा कराना नहीं, बल्कि ऐसा सिस्टम तैयार करना है जिसमें किसी को भी शिकायत का अवसर न मिले। यूकेएसएसएससी अब अपने समूह-ग पदों की आगामी भर्तियों का नया कैलेंडर भी जल्द जारी करने जा रहा है। अधिकारियों के अनुसार, आयोग किसी भी भर्ती में विलंब नहीं करेगा और सभी परीक्षाएं तय समय पर आयोजित की जाएंगी। सभी चरणों में पूर्ण पारदर्शिता और निगरानी प्रणाली लागू की जाएगी।
पुस्तकालय भर्ती की चयन सूची भेजी गई
आयोग ने सोमवार को एक और महत्वपूर्ण प्रक्रिया पूरी की। उप पुस्तकालयाध्यक्ष, पुस्तकालय सहायक, सूचना सहायक, सहायक पुस्तकालयाध्यक्ष और सूचीकार पदों पर हुई भर्ती परीक्षा की चयन सूची विभाग को भेज दी गई है। अब संबंधित विभाग चयनित अभ्यर्थियों की नियुक्ति प्रक्रिया पूरी करेगा। सहकारी निरीक्षक भर्ती परीक्षा के लिए तैयार यह नया सिस्टम पेपर लीक रोकथाम का मॉडल माना जा रहा है।
इसमें हर तकनीकी पहलू — जैमर, नेटवर्क कंट्रोल, कैमरा निगरानी, और अभ्यर्थी सत्यापन — को पूर्व-परीक्षण (Pre-trial) के तहत जांचा जाएगा। इस कदम को उत्तराखंड में सरकारी भर्तियों की साख बहाल करने की दिशा में निर्णायक प्रयास माना जा रहा है। यूकेएसएसएससी की आगामी 16 नवंबर की परीक्षा केवल एक भर्ती परीक्षा नहीं, बल्कि आयोग की विश्वसनीयता की परीक्षा भी है।